Rahi Masoom Raza ने जो Mahabharat के लिए किया, Manoj Muntashir उसका आधा  भी नहीं कर पाए और भगवान राम Adipurush नहीं थे: Gajendra Chauhan 

महाभारत में युधिष्ठिर का किरदार निभाने वाले गजेंद्र चौहान ने आदिपुरुष के मेकर्स को खरी-खोटी सुनाई है।

Gajendra Chauhan lashes out at Manoj Muntashir: फिल्म आदिपुरुष को लेकर विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है। इस फिल्म की अभी भी काफी आलोचना हो रही है। आदिपुरुष के डायरेक्टर ओम राउत और डायलॉग राइटर मनोज मुंतशिर को चारों तरफ से कड़ी आलोचना झेलनी पड़ रही है। इसी बीच टीवी सीरियल महाभारत में  युधिष्ठिर का किरदार निभाने वाले गजेंद्र चौहान ने भी आदिपुरुष के मेकर्स को काफी कटु शब्द कहे हैं। 

गजेंद्र ने ईटाइम्स से बातचीत करते हुए कहा कि, ‘’रामायण और महाभारत पौराणिक कथाएँ नहीं हैं। यह भारत का इतिहास हैं, इस इतिहास को मुगल काल में खत्म करने का काम किया गया था। लेकिन ऐसा कभी हो नहीं पाया। फिल्म का टाइटल ही गलत है, भगवान राम आदिपुरुष नहीं थे। भगवान शिव को आदिपुरुष माना जाता है। इस फिल्म से हमारे युवाओं को भ्रमित करने की कोशिश की गई है, यह बड़ी एक साजिश है।’’गजेंद्र ने मनोज मुंतशिर पर भी तंज कसते हुए कहा कि, ‘’यह छोटी सोच का नतीजा है, जो फिल्म में ऐसे डायलॉग्स लिखे गए हैं। आप जैसा सोचते हैं वैसा ही लिखते हैं। मनोज ने कई लोगों से कॉपी करके डायलॉग्स लिखे है। इसके अलावा मनोज निहायती घमंडी इंसान हैं।’’ 

आगे इसी पर गजेंद्र ने महाभारत सीरियल के डायलॉग राइटर राही मासूम रजा की याद दिलाते हुए कहा कि, ‘’जिस तरह से राही साहब ने महाभारत के लिए काम किया था, मनोज उसका आधा भी नहीं कर पाए हैं। मुस्लिम होकर भी राही साहब ने महाभारत की आत्मा को जिंदा रखा। अगर आप रामायण और महाभारत जैसे ग्रंथो पर फिल्म बना रहो हो, तो एक राइटर से काम नहीं चलता है। हमारे समय में महाभारत और रामायण सीरियल के लिए आठ-दस राइटर थे। महाभारत के डायलॉग सिर्फ राही साहब ने लिखे थे, लेकिन कहानी पंडित नरेंद्र शर्मा द्वारा लिखी गई थी। रही साहब ऐसे राइटर थे, जो पहले सीन को खुद फील करते थे और उसके बाद लिखते थे। लेकिन आदिपुरुष के राइटर और मेकर्स ने इन चीजों पर बिल्कुल भी ध्यान नहीं दिया है।’’

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