Saira Banu Said Dev Anand Was Very Shy: आज बॉलीवुड के दिवंगत अभिनेता देव आनंद की 100वीं बर्थ एनिवर्सरी है। आज बॉलीवुड से हर कोई दिवंगत अभिनेता को याद कर रहा है। इसी बीच बॉलीवुड की वर्सेटाइल एक्ट्रेस सायरा बानू जिन्होंने देव आनंद के साथ कई फिल्मों में काम किया है, उन्होंने अभिनेता से जुड़े कुछ किस्से साझा किए हैं।
सायरा ने अपने आधिकारिक इंस्टाग्राम हैंडल से देव आनंद के साथ अपनी एक फिल्म के सॉन्ग्स की वीडियो साझा करते हुए लिखा कि, ‘’100वाँ जन्मदिन मुबारक हो! 1955 की फिल्म “सी.आई.डी” में देव साहब मेरी माँ नसीम जी को लेना चाहते थे लेकिन उस समय सुल्तान भाई और मैं लंदन में स्कूली शिक्षा ले रहे थे और उन्हें हमारे साथ वहाँ रहना था, इसलिए उन्होंने मना कर दिया। शकीला जी ने भी वही भूमिका निभाई। हुआ भी कुछ ऐसा ही 1958 की फिल्म “काला पानी” में नसीमजी की भूमिका नलिनी जयवंत ने निभाई थी। साहिब (दिलीप कुमार) ने उन्हें “महानतम अभिनेत्री” बताया था, जिनके साथ उन्होंने काम किया था। हमारा परिवार देव साहब को एक उत्साही और मिलनसार व्यक्ति के रूप में जानता था जो हम सभी से प्यार करते थे, चाहे वह साहिब (दिलीप कुमार) हों, नसीमजी हों और मैं मैं। उनकी पसंदीदा पंच लाइन थी “अरे”! हमें मिलना ही चाहिए” लेकिन ऐसा कम ही होता था।’’
सायरा ने आगे लिखा कि, ‘’शंकर मुखर्जी की “प्यार मोहब्बत” के लिए साब और मैं बंबई से अदन तक एक विशाल जहाज पर शूटिंग कर रहे थे, जहाज पर गाने, रोमांटिक और कॉमेडी सीन्स की शूटिंग विदेशी पर्यटकों से भरे यूरोपीय लोगों के साथ कर रहे थे। यात्रा कुछ दिनों की थी और इतने में ही हमें अपना काम ख़त्म करना था। अब, क्या आप इस पर विश्वास करेंगे, वह विदेशियों की इस भीड़ से इतना अलग हो गए थे कि पहले दिन वे चाह रहे थे कि यह भीड़ चली जाए। वे एक शर्मीले, अकेले रहने वाले व्यक्ति थे देव साहब, उन्हें लगता था कि काम शुरू करने से पहले उन्हें भीड़ के चेहरों से परिचित होना होगा। शंकर मुझे आराम करना होगा और इन विदेशियों के चेहरों की आदत डालनी होगी! अगले दिन शंकरजी और मैं उनके केबिन में गए और उनसे बात की। मैंने कहा, देखो तुम्हें मुझे उठाकर स्विमिंग पूल में फेंकना होगा और समय जल्द ही समाप्त हो जाएगा, जहाज एक दिन में अदन पर उतरेगा और हमें पैकअप करना होगा! मैंने उन्हें बाहर निकाला और तब से सब कुछ ठीक चल रहा था।’’
सायरा ने अंत में लिखा कि, ‘’सौभाग्य से देव साहब हमेशा मुझे अपनी फिल्म में एक भूमिका के लिए आगे बढ़ाते थे, इसका एक अच्छा उदाहरण “गाइड” था जिसके लिए टेड डेनियलवस्की मुझसे फिल्म के लिए पूछने के लिए मेरी मां के नेपियन सी रोड हाउस ‘सी बेले’ में आए थे। उस समय मुझे मेहबूब खान की ‘हब्बा खातून’ करनी थी, जो कश्मीरी कवयित्री की कहानी थी और कश्मीरी राजकुमार यूसुफ चक की भूमिका साहिब (दिलीप कुमार) को निभानी थी। यह मेरी प्राथमिकता थी और इसलिए मुझे “गाइड” को अस्वीकार करना पड़ा। मैं इस बात से खुश हूं क्योंकि मुझे लगता है कि यह भूमिका निभाने के लिए मैं बहुत छोटी थी। इसी तरह मैं “तीन देवियां” या “ज्वैल थीफ” नहीं कर सकीं।’’